हम सभी अपने देश से बहुत प्रेम करते हैं स्नेह का एक सागर हम सभी में निहित है जो हिरोले लेता रहता है पर जीवन की आपाधापी में प्रेम की इस धारा पर व्यस्तता की गर्द जमने लगती है और हम जाने अनजाने अपने इस प्रेम से दूर होने लगते हैं .हमारा बस यही प्रयास है की उस गर्द को साहित्य की एक हलकी सी फ़ूक से साफ करके आपके देशप्रेम की धारा को पुनःबहाया जाय.
हमारा ये भी प्रयास है कि हमारे कवियों को एक ऐसा मंच प्रदान किया जाये जिससे उनकी प्रतिभा को उचित सम्मान मिल सके इसीको ध्यान में रखते हुए हमने देश प्रेम के भावों से भरी कविताओं की प्रतियोगिता का आयोजन किया जिसे बहुत सराहा गया .इस चरण से उत्साहित हो कर लाभ-निरपेक्ष संगठन रक्षक फाउन्डेशन ने देश राग नाम से मौलिक देशभक्ति गानों की प्रतियोगिता का आयोजन करना प्रारंभ किया है हमारा मुख्य उद्देश्य है की भारतीय नव जवानों को एक ऐसा मंच प्रदान किया जाये जहाँ वो अपने देशभक्ति के भावों को , संगीत को और अपने स्वरों को व्यक्त कर सकें .
देश राग हर उस व्यक्ति का है जिसके ह्रदय में देश प्रेम जी ज्वाला धधक रही है वो रहे दुनिया के किसी भी कोने में पर दिल भारत के नाम पर ही धडकता है |
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आँचल माँ भारती का सजाना होगा
गीत अमन का सभी को गाना होगा
कोई आये न आये साथ हमारे
हाथ हमें फिर भी बढ़ाना होगा (रचना श्रीवास्तव)
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आज कल देश में एक उफान है,
सबके मन में एक तूफ़ान है,
सब चाहते हैं इस राजनीति से छुटकारा,
पर नहीं छोडती ये साथ हमारा | (विपिन कुमार गौतम “कुमार”)
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